इस पोस्ट में, मैंने तीन बहुत प्रभावशाली जैन शांति मंत्रों के बारे में लिखा है, जिनका सच्चे मन से जाप करने से साधक को मानसिक शांति प्राप्त होती है, विघ्नों और संकटों को शांत किया जा सकता है। यह तीनों जैन मंत्र अत्यंत शक्तिशाली सात्विक ऊर्जा का आकर्षण करके मन और सर्व परेशानियों को शीघ्र शांत करते है।
१] मानसिक शांति पाने का मंत्र: किसी भी कारण से मन अशांत हो और तनाव और बेचैनी महसूस हो रही है, तब यह मंत्र अत्यंत लाभदायक साबित होगा और शीघ्र मन को शांत करके सुख, समाधान और आनंद देता है।
|| ॐ ह्रां ह्रीं ह्रूं ह्रौंः ह्रः अ सि आ उ सा नमः सर्व शांति पुष्टि कुरु कुरु स्वाहा ||
|| Om Hraam Hreem Hroom Hroumah Hrah Aa Si Aa USa Namah Sarva Shanti Pushti Kuru Kuru Swaha ||
२] सर्व विघ्न शांति मंत्र: अगर आप अड़चन, रुकावट, बाधा, परेशानी के कारण कष्ट और क्लेश महसूस कर रहे हो तब यह जैन मंत्र एक राम बाण की तरह काम करके कठिन से काठिन विघ्नों को शांत करेगा।
|| ॐ ह्रीं अर्हं अ सि आ उ सा सर्व विघ्न शांति कुरु कुरु स्वाहा ||
|| Om Hreem Arham Aa Si Aa USa Sarva Vighna Shanti Kuru Kuru Swaha ||
मंत्र का जाप करने की विधि: पहले और दूसरे मंत्र का जाप करने की विधि एक समान है। साधक को इन दो शांति मंत्रों में से किसी भी एक मंत्र का सवेरे, दोपहर और श्याम के समय १ माला जाप करना है। यह मंत्र जाप इच्छित मन शांति प्राप्त होने तक या कुछ पूर्व निर्धारित दिनों के लिए किया जा सकता है।
पहला मंत्र मानसिक शांति पाने का मंत्र है और दूसरा मंत्र किसी भी प्रकार के विघ्नों और मुश्किलों को शांत करने का मंत्र है।
३] सर्व संकट शांति मंत्र: अगर आप किसी भी संकट में फस चुके हो, जैसे की शत्रु का संकट, रोगों का संकट, धन-संपत्ति और पैसों का संकट, तब इस जैन मंत्र का जाप करने से वह संकट और खतरा शांत हो जाता है।
|| ॐ ह्रीं अर्हं श्रीं अ सि आ उ सा नमः सर्व शांति कुरु कुरु स्वाहा ||
|| Om Hreem Arham Shreem Aa Si Aa USa Namah Sarva Shanti Kuru Kuru Swaha ||
मंत्र का जाप करने की विधि: इस मंत्र का सवेरे स्नान करने के बाद १०८ बार जाप करना है। संकट शांत होने तक मंत्र जाप जारी रखना है।
१] मानसिक शांति पाने का मंत्र: किसी भी कारण से मन अशांत हो और तनाव और बेचैनी महसूस हो रही है, तब यह मंत्र अत्यंत लाभदायक साबित होगा और शीघ्र मन को शांत करके सुख, समाधान और आनंद देता है।
|| ॐ ह्रां ह्रीं ह्रूं ह्रौंः ह्रः अ सि आ उ सा नमः सर्व शांति पुष्टि कुरु कुरु स्वाहा ||
|| Om Hraam Hreem Hroom Hroumah Hrah Aa Si Aa USa Namah Sarva Shanti Pushti Kuru Kuru Swaha ||
२] सर्व विघ्न शांति मंत्र: अगर आप अड़चन, रुकावट, बाधा, परेशानी के कारण कष्ट और क्लेश महसूस कर रहे हो तब यह जैन मंत्र एक राम बाण की तरह काम करके कठिन से काठिन विघ्नों को शांत करेगा।
|| ॐ ह्रीं अर्हं अ सि आ उ सा सर्व विघ्न शांति कुरु कुरु स्वाहा ||
|| Om Hreem Arham Aa Si Aa USa Sarva Vighna Shanti Kuru Kuru Swaha ||
मंत्र का जाप करने की विधि: पहले और दूसरे मंत्र का जाप करने की विधि एक समान है। साधक को इन दो शांति मंत्रों में से किसी भी एक मंत्र का सवेरे, दोपहर और श्याम के समय १ माला जाप करना है। यह मंत्र जाप इच्छित मन शांति प्राप्त होने तक या कुछ पूर्व निर्धारित दिनों के लिए किया जा सकता है।
पहला मंत्र मानसिक शांति पाने का मंत्र है और दूसरा मंत्र किसी भी प्रकार के विघ्नों और मुश्किलों को शांत करने का मंत्र है।
३] सर्व संकट शांति मंत्र: अगर आप किसी भी संकट में फस चुके हो, जैसे की शत्रु का संकट, रोगों का संकट, धन-संपत्ति और पैसों का संकट, तब इस जैन मंत्र का जाप करने से वह संकट और खतरा शांत हो जाता है।
|| ॐ ह्रीं अर्हं श्रीं अ सि आ उ सा नमः सर्व शांति कुरु कुरु स्वाहा ||
|| Om Hreem Arham Shreem Aa Si Aa USa Namah Sarva Shanti Kuru Kuru Swaha ||
मंत्र का जाप करने की विधि: इस मंत्र का सवेरे स्नान करने के बाद १०८ बार जाप करना है। संकट शांत होने तक मंत्र जाप जारी रखना है।
मंत्र क्रमांक २ और ३ का हिंदी विडिओ आप हमारे यूट्यूब चैनल पर देख सकते हो: विघ्न और संकट नाशक जैन शांति मंत्र
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